विद्याज्ञान स्कूल में दाखिले के लिए बच्चे करें तैयारी, परीक्षा के लिए शेड्यूल हुआ जारी
विद्याज्ञान आवासीय स्कूलों में सत्र 2024-25 के लिए कक्षा 6 में दाखिले के लिए तैयारी शुरू हो गई हैं। जनपद में विद्याज्ञान प्रवेश परीक्षा तीन दिसंबर को दो पालियों में होगी। इसको लेकर विद्याज्ञान परियोजना निदेशक ने जिला विद्यालय निरीक्षक एवं बेसिक शिक्षा अधिकारी को पत्र भेजा है।
अमन यात्रा, कानपुर देहात। विद्याज्ञान आवासीय स्कूलों में सत्र 2024-25 के लिए कक्षा 6 में दाखिले के लिए तैयारी शुरू हो गई हैं। जनपद में विद्याज्ञान प्रवेश परीक्षा तीन दिसंबर को दो पालियों में होगी। इसको लेकर विद्याज्ञान परियोजना निदेशक ने जिला विद्यालय निरीक्षक एवं बेसिक शिक्षा अधिकारी को पत्र भेजा है।
परियोजना निदेशक विद्याज्ञान एस के माहेश्वरी ने जिला विद्यालय निरीक्षक अचल कुमार मिश्र व जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी रिद्धी पाण्डेय को 30 अगस्त 2023 को पत्र भेजा है। पत्र में कहा गया है कि ग्रामीण क्षेत्रों के आर्थिक रूप से पिछड़े परिवारों की वार्षिक आय दो लाख रुपये से कम हो। वही विद्यार्थी इसमें आवेदन कर सकते हैं। मेधावी विद्यार्थियो की पढ़ाई के लिए यह एक बहुत ही बेहतरीन ऑर्गेनाइजेशन है। एचसीएल कंपनी के संस्थापक शिव नाडर विद्याज्ञान स्कूल के संस्थापक हैं। यहां सीबीएसई पाठ्यक्रम से शिक्षा दी जाती है। प्रदेश में विद्याज्ञान की दो शाखाएं बुलंदशहर और सीतापुर जिले में हैं। यहां कक्षा 6 से 12 तक पढ़ाई बिल्कुल निःशुल्क है। इसके अलावा कम्प्यूटर, अंग्रेजी व खेलकूद के प्रशिक्षण के साथ बच्चों
को मेडिकल व इंजीनियरिंग आदि प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए तैयार किया जाता है। शैक्षिक सत्र 2024-25 में कक्षा छह में प्रवेश के लिए प्रारंभिक लिखित परीक्षा तीन दिसंबर को दो पालियों में आयोजित की जा रही है। परिषदीय विद्यालय व मान्यता प्राप्त स्कूलों से अधिक से अधिक आवेदन कराए जाने के निर्देश दिए गए हैं। आवेदन 20 अक्टूबर तक होंगे। प्रथम पाली सुबह 10.30 बजे से दोपहर 12.30 बजे तक बालिका और दूसरी पाली में 2.30 बजे से 4.30 बजे तक बालक वर्ग की परीक्षा होगी। बता दें परीक्षा को लेकर तैयारी पूरी की जा रही है।
बेसिक शिक्षा अधिकारी रिद्धी पाण्डेय ने बताया कि विद्याज्ञान शिव नादर फाउंडेशन की एक अच्छी पहल है जिसका उद्देश्य आर्थिक रूप से वंचित पृष्ठभूमि के मेधावी ग्रामीण बच्चों को मुफ्त, विश्व स्तरीय शिक्षा प्रदान करना, उन्हें उन नुकसानों से उबरने में सक्षम बनाना है जिनका वे सामना करते हैं।