उन्होंने आगे कहा, “अगर ये सरकारी जमीन है भी तो अच्छे काम में उसका इस्तेमाल हो रहा है. उस जमीन को बदले की भावना से आप वापस ले लेते हैं तो आप यूनिवर्सिटी बंद कर देना चाहते हैं. हम नहीं चाहते कि शिक्षा का मंदिर बंद हो. 10 महीने तक 70 साल की बुजुर्ग महिला को सरकार ने जेल में रखा. उनके दर्द की दास्तां सुनकर मेरी आंखें नम हो गई. ये बहुत दुखद स्थिति है. राजनीतिक बदले की भावना में सरकार को इस हद तक नहीं जाना चाहिए. यह अपने आप में पहला उदाहरण हैं कि देश में सरकार एक व्यक्ति से लड़ते-लड़ते उसके परिवार और बनाए गए संस्थान पर हमलावर हो गई.”
वहीं, कांग्रेस विधायक आरिफ मसूद ने कहा, “मेरा आजम भाई से 25 साल पुराना नाता है. आजम पर राजनीतिक दुर्भावना से हमले हो रहे हैं. हम लोगों को उठकर खड़े होना चाहिए. मैं सियासी दलों से भी अपील करूंगा कि सबको उनके लिए खड़ा होना चाहिए. आजम खान साहब ने कोई गुनाह नहीं किया है. उन्होंने संविधान के दायरे में सारा काम किया है.”
कानपुर देहात: उत्तर प्रदेश के माध्यमिक शिक्षकों का सबसे बड़ा संगठन, उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक…
राजेश कटियार,कानपुर देहात। सरवनखेड़ा क्षेत्र के गजनेर थाना के अंतर्गत प्राथमिक विद्यालय निनायां प्रथम से…
कानपुर देहात में बीती रविवार की रात एक युवक की हत्या कर दी गई।परिजनों ने…
कानपुर देहात: खुशियों से भरा घर अचानक मातम में बदल गया! मंगलपुर थाना क्षेत्र के…
कानपुर देहात में पुलिस की सक्रियता के चलते अपराधियों को सजा दिलाने का सिलसिला लगातार…
सुशील त्रिवेदी, कानपुर देहात। राष्ट्रीय स्तर पर सनातन के संबंध में चल रही बहस को…
This website uses cookies.