कानपुर, अमन यात्रा। कोरोना महामारी के चलते देशभर के सीबीएसई स्कूलों में पढ़ाई का स्वरूप पूरी तरह से बदल गया। अप्रैल 2020 से लेकर फरवरी 2020 तक छात्र-छात्राओं ने ऑनलाइन पढ़ाई की। हालांकि फरवरी के बाद से जब स्थितियां सामान्य हुईं तो छात्र ऑफलाइन पढ़ाई भी करने लगे। मगर करीब 11 माह तक जो ऑनलाइन पढ़ाई रही, उसमें शिक्षकों को भी ऑनलाइन पढ़ाने का एक नया अनुभव मिला। अब शिक्षक इसमें दक्षता हासिल कर सकें, इसके लिए सीबीएसई ने सभी शिक्षकों को ऑनलाइन प्रशिक्षित करने का फैसला किया है। इसके लिए सेंट्रल स्क्वायर फाउंडेशन की ओर से तैयार चार मॉड्यूल की जानकारी शिक्षकों को चरणबद्ध तरीके से दी जाएगी।
कॉम्पीटेंसी बेस्ड एजूकेशन पर है फोकस
सीबीएसई के विशेषज्ञों का मानना है, कि पढ़ाई का अब वह दौर है, जब छात्रों को कॉम्पीटेंसी बेस्ड एजूकेशन मिल सके। यानि हर छात्र खुद से प्रतिस्पर्धा करे। इसके अलावा जो एक्सीपीरिंशियल लर्निंग है यानि क्या पढ़ाना है, कितना पढ़ाना और कैसे पढ़ाना है। अगर यह शिक्षक के अंदर आ गया तो निश्चित तौर पर पूरी तन्मयता से छात्र पढ़ेंगे और शिद्दत के साथ शिक्षक भी पढ़ा सकेंगे।
20 मार्च तक कोर्स पूरा करना होगा, 31 मार्च तक बोर्ड को जाएगी रिपोर्ट
सभी स्कूलों के शिक्षकों को 20 मार्च तक बोर्ड की ओर से आयोजित ऑनलाइन ट्रेनिंग में हिस्सा लेना होगा और 31 मार्च तक बोर्ड को इसकी रिपोर्ट जाएगी। बोर्ड के निदेशक (प्रशिक्षण एवं स्किल एजूकेशन) डॉ.बिस्वजीत साहा ने जो सर्कुलर जारी किया उसके मुताबिक देश में 65 हजार से अधिक शिक्षक ऑनलाइन प्रशिक्षण ले चुके हैं।
इनका ये है कहना
हर स्कूल से सभी शिक्षक फ्री ऑनलाइन ट्रेनिंग प्रोग्राम को जरूर ज्वाइन करें। इससे उनकी स्किल और बेहतर होगी और वह कई नवीन जानकारियां हासिल कर सकेंगे। – बलविंदर सिंह, सिटी कोआर्डिनेटर, सीबीएसई