डॉक्टर बनना नहीं रहा आसान, यदि नहीं आई अच्छी रैंक तो एक करोड़ हो जायेंगे कुर्बान
नीट यूजी 2023 में हिस्सा लेने वाले सभी प्रतिभागियों के साथ ही भावी उम्मीदवारों के भी मन में यह सवाल होता है कि नीट में कितने नंबर पर सरकारी कॉलेज मिलेगा।
- नीट यूजी: इस बार अधिक अंको पर होगा दाखिला, पिछले साल की तुलना में बढ़ा है कटऑफ
- नीट में कितने नंबर पर मिलेगा सरकारी कॉलेज आइए जानते हैं
लखनऊ/ कानपुर देहात। नीट यूजी 2023 में हिस्सा लेने वाले सभी प्रतिभागियों के साथ ही भावी उम्मीदवारों के भी मन में यह सवाल होता है कि नीट में कितने नंबर पर सरकारी कॉलेज मिलेगा। हर प्रतिभागी के मन में नीट में कितने नंबर पर सरकारी कॉलेज मिलेगा यह सवाल उठना जरूरी भी है। इसकी वजह है प्राइवेट मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस प्रोग्राम के लिए वसूली जाने वाली मोटी फीस। सरकारी संस्थानों की तुलना में
प्राइवेट मेडिकल कॉलेजों की फीस कई गुना अधिक होती है। जहां सरकारी मेडिकल कॉलेजों में न के बतौर फीस लगती है वहीं प्राइवेट कॉलेजों में एमबीबीएस करने में करीब एक करोड़ रूपये खर्च हो जाता है। नवीनतम अपडेट के अनुसार देश में मेडिकल यूजी सीटों की कुल संख्या बढ़कर 107658 हो गई है। नवीन 50 कॉलेजों (30 सरकारी और 20 निजी) को मिलाकर देश में मेडिकल कॉलेजों की संख्या 702 हो गई है।
यूपी में 67 मेडिकल कॉलेज हैं जिनमें से 35 सरकारी मेडिकल कॉलेज और 32 प्राइवेट मेडिकल कॉलेज हैं जिनमें एमबीबीएस की सरकारी क्षेत्र की 3828 एवं निजी क्षेत्र की 4700 सीटें हैं।
नीट में कितने नंबर पर सरकारी कॉलेज मिलेगा यह उम्मीदवार की श्रेणी पर निर्भर करता है। नीट क्वालिफाई करने के लिए श्रेणीवार नीट कटऑफ हेतु वांछित स्कोर पाने की आवश्यकता होती है। मेडिकल कॉलेजों में नीट प्रवेश एआईक्यू या राज्यवार काउंसलिंग के माध्यम से उम्मीदवारों द्वारा प्राप्त अखिल भारतीय रैंक (एआईआर) के आधार पर किया जाता है। राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग के लेटेस्ट आंकड़ों के अनुसार देश के कुल 355 सरकारी मेडिकल कॉलेजों में 52218 एमबीबीएस सीटें हैं। ऐसे में नीट में कितने नंबर पर सरकारी कॉलेज मिलेगा इसका उत्तर इस बात पर भी निर्भर करता है कि आप किस कोटे के तहत और किस कॉलेज में सीट चाहते हैं।
नीट मार्क्स बनाम रैंक डाटा विश्लेषण के अनुसार सामान्य वर्ग में लगभग 670 के स्कोर एआईक्यू से नीट में सरकारी कॉलेज मिल जाएगा। राज्य कोटे के सरकारी कॉलेजों में प्रवेश थोड़ा कम स्कोर से मिल जाने की संभावना है। मोटे तौर पर 650 से अधिक नीट स्कोर होने पर उम्मीदवारों के सरकारी कॉलेजों में प्रवेश मिलने के बेहतर अवसर होंगे। पिछड़े वर्ग के उम्मीदवारों को सरकारी मेडिकल कॉलेज में दाखिला पाने के लिए 595 से अधिक अंक लाने की जरूरत होगी। वहीं अनुसूचित जाति श्रेणी के लिए 495 से अधिक स्कोर होने पर बेहतर मौके होंगे। अनुसूचित जनजाति के उम्मीदवारों को सरकारी मेडिकल कॉलेज पाने के लिए 475 से अधिक अंक अर्जित करने की आवश्यकता होगी। प्रत्येक सरकारी मेडिकल कॉलेजों या सरकारी यूनिवर्सिटी में प्रवेश के लिए जरूरी नहीं है कि समान अंक पर प्रवेश दिया जाएगा। मोटे तौर नीट 2023 में भाग लेने वाले उम्मीदवारों की संख्या गत वर्ष की तुलना में अधिक है, नीट 2023 में लगभग 21 लाख उम्मीदवारों ने भाग लिया इनमें 11.45 लाख उत्तीर्ण हुए जिसमें सबसे अधिक 1.39 लाख अभ्यर्थी यूपी के उत्तीर्ण हुए हैं। ऐसे में यदि 660 नीट स्कोर से सामान्य श्रेणी के उम्मीदवारों को एआईक्यू के तहत सरकारी सीट मिले तो कोई अचरज नहीं होना चाहिए।
कितने नीट स्कोर से मिलेगा सरकारी मेडिकल कॉलेज-
सामान्य वर्ग : 650+ अंक
अन्य पिछड़ा वर्ग : 595+ अंक
अनुसूचित जाति : 495+ अंक
अनुसूचित जन जाति : 475+ अंक