बायोमेट्रिक मशीन से होगी अब बच्चों की अटेंडेंस, तैयारी तेज
शिक्षा व्यवस्था में सुधार करने के लिए निजी नए नए प्रयोग किए जा रहे हैं अब परिषदीय विद्यालयों में बायोमेट्रिक मशीन लगाए जाने पर विचार किया जा रहा है।शिक्षक पठन-पाठन की व्यवस्था में लापरवाही नहीं कर सकेंगे। उन्हें नियमित विद्यालय आना होगा, साथ ही बायोमेट्रिक अटेंडेंस लगानी होगी बच्चों को भी बायोमेट्रिक अटेंडेंस लगानी होगी।

- अगले सत्र से बायोमेट्रिक हाजिरी की संख्या के आधार पर एमडीएम की कन्वर्जन कॉस्ट देने की योजना
कानपुर देहात,अमन यात्रा : शिक्षा व्यवस्था में सुधार करने के लिए निजी नए नए प्रयोग किए जा रहे हैं अब परिषदीय विद्यालयों में बायोमेट्रिक मशीन लगाए जाने पर विचार किया जा रहा है।शिक्षक पठन-पाठन की व्यवस्था में लापरवाही नहीं कर सकेंगे। उन्हें नियमित विद्यालय आना होगा, साथ ही बायोमेट्रिक अटेंडेंस लगानी होगी बच्चों को भी बायोमेट्रिक अटेंडेंस लगानी होगी। छुट्टी के लिए शिक्षकों को पहले से ही मानव संपदा पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन अवकाश मिल रहा है। मिड डे मील योजना में भी प्रधानाध्यापक अब गलत छात्र संख्या बताकर खेल नहीं कर सकेंगे। अगले सत्र से बायोमेट्रिक हाजिरी की संख्या के आधार पर एमडीएम की कन्वर्जन कॉस्ट दी जाएगी। विभाग इसकी नीति में बदलाव की तैयारी कर रहा है।
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अभी मॉनिटरिंग के लिए लागू सिस्टम के तहत कंट्रोल रूम से ऑटोमेटिक प्रणाली से हर शिक्षक को एक कॉल जाती है और उसे छात्र संख्या बतानी होती है। इससे ही औसत निकाल कर कन्वर्जन कॉस्ट दी जाती है। आईवीआरएस लागू करते समय यह नियम बनाया गया था कि यदि निरीक्षण के समय आईवीआरएस पर बताई संख्या से कम बच्चे मिले तो कार्यवाही की जाएगी लेकिन इसमें भी खेल किया जाने लगा।
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