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शहाबगंज: बेलावर गांव में मनरेगा के तहत क्षेत्र पंचायत व मनरेगा मेठ मिलकर बड़े पैमाने पर कर रहें भ्रष्टाचार, मजदूरों के स्थान पर मोबाइल कर रही काम…. मौके पर मजदूरों की संख्या शून्य,फर्जी तरीके से निकाला जा रहा है धन……

शहाबगंज: बेलावर गांव में मनरेगा के तहत क्षेत्र पंचायत व मनरेगा मेठ मिलकर बड़े पैमाने पर कर रहें भ्रष्टाचार, मजदूरों के स्थान पर मोबाइल कर रही काम…. मौके पर मजदूरों की संख्या शून्य,फर्जी तरीके से निकाला जा रहा है धन

-मौके पर एक भी मजदूर नहीं कर रहे काम, पर हाजिरी दर्जनों के पार

-बीडीओ ने कार्रवाई का दिया निर्देश

शहाबगंज, चंदौली। शहाबगंज विकास खंड अंतर्गत बेलावर गांव में मनरेगा का कार्य क्षेत्र पंचायत द्वारा कराया जा रहा है। इसमें बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार का भी खेल खेलने का कार्य किया जा रहा है। क्षेत्र पंचायत व मनरेगा मेठ मिलकर एक ही फोटो को दो-दो दिन व पुरानी फोटो को मोबाइल में ओपन कर हाजिरी षड्यंत्र तरीके से मनरेगा साइड पर देकर सरकार के खजाने में विधिवत सेंध लगाने का कार्य कर रहे हैं। यहीं नहीं मनरेगा मजदूरों के स्थान पर मोबाइल काम कर रही है। 08 अगस्त 2024 को जो फोटो हाजिरी के तौर पर मनरेगा साइड पर टैग किया गया है वह फोटो मजदूरों के बजाय फर्जी तरीके से मोबाइल की फोटो टैग कर दिया गया है। जिससे यह साबित हो रहा है कि भ्रष्टाचार की गाथा क्षेत्र पंचायत व मनरेगा मेठ मिलकर रच रहे हैं। यहीं नहीं मनरेगा साइड पर टैग की गई फोटो में नाम मात्र के मनरेगा मज़दूरों की संख्या दिख रही है, लेकिन फर्जी तरीके से हाजिरी दर्जनों के पार मजदूरों की दी जा रही है। मौके पर मजदूरों की संख्या शून्य है।

बतादें कि केंद्र की मोदी सरकार व प्रदेश की योगी सरकार जहां भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने के लिए तरह-तरह के तरीके अपनाते हुए दिन-रात मेहनत कर रही है तो वही कुछ भ्रष्टाचारी लोग शासन के मंसूबों पर पानी फेरते हुए अपना षड्यंत्र रच शासन के खजाने में सेंध लगाने पर उतारू हो गए हैं। हम बात कर रहे हैं स्थानीय विकास खंड अंतर्गत बेलावर गांव की। बेलावर गांव में बड़े पैमाने पर क्षेत्र पंचायत व मनरेगा मेठ मिलकर भ्रष्टाचार को अंजाम देने में लगे हुए हैं। एक ही फोटो को दो-दो दिन मनरेगा साइड पर टैग किया जा रहा है। 08 अगस्त 2024 को जो फोटो मनरेगा साइड पर टैग किया गया है वहीं फोटो फर्जी तरीके से मोबाइल को हाजिरी के रूप में टैग की गई है। जिससे यह खुलेआम साबित हो रहा है कि क्षेत्र पंचायत व मनरेगा मेठ मिलकर भ्रष्टाचार का हथकंडा अपनाते हुए शासन के खजाने में सेंध लगा रहे हैं। यहीं नहीं मनरेगा में मजदूरों के स्थान पर मोबाइल काम कर रही है।

बेलावर गांव में 1 कार्य पर 4 मस्टररोल निकाला गया है। जिसमें कुल 28 मजदूर प्रतिदिन कार्य कर रहे हैं। हाजिरी के दौरान टैग की गई तस्वीर को देखी जाए तो एक-दो‌ से अधिक मजदूर दिखाई नहीं दे रहे हैं। एक ही फोटो को मोबाइल में ओपन कर कई दिन हाजिरी दी जा रही है।

वर्जन-

शहाबगंज खंड विकास अधिकारी ने कहा कि मामले की जांच कराकर ग्राम प्रधान व मनरेगा मेठ के ऊपर कार्रवाई की जाएगी। ‌

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