उत्तरप्रदेशकानपुर देहातफ्रेश न्यूजलखनऊ

परिषदीय शिक्षकों को बदनाम करने की अवकाश तालिका में की गई साजिश 

परिषदीय शिक्षकों की छुट्टियों के नाम पर लोग तरह तरह की बातें करते हैं और बेसिक शिक्षकों पर छुट्टी को लेकर तंज कसते रहते हैं लेकिन हकीकत कुछ और है जिससे लोग वाकिफ नहीं हैं। शासन ने पहले ही महापुरुषों की जयंती पर होने वाले अवकाशों को समाप्त कर दिया है।

Story Highlights
  • शिक्षकों को मिलेगा मात्र 22 दिन का अवकाश, अवकाश तालिका में प्रदर्शित किया गया 33 दिन
राजेश कटियार,कानपुर देहात। परिषदीय शिक्षकों की छुट्टियों के नाम पर लोग तरह तरह की बातें करते हैं और बेसिक शिक्षकों पर छुट्टी को लेकर तंज कसते रहते हैं लेकिन हकीकत कुछ और है जिससे लोग वाकिफ नहीं हैं। शासन ने पहले ही महापुरुषों की जयंती पर होने वाले अवकाशों को समाप्त कर दिया है। इसके अलावा बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा जारी अवकाश तालिका में कई अन्य प्रकार के अवकाशों को भी समाप्त कर दिया गया है। बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा जारी 2024 की अवकाश तालिका में कुल 33 अवकाशों को जगह दी गई है जिनमें से 6 अवकाश रविवार को हैं जो सूची में अंकित हैं। इसके अलावा कई अवकाश ऐसे अंकित हैं जिनमें शिक्षकों को विद्यालय बुलाया गया है।
उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा परिषद ने परिषदीय एवं मान्यता प्राप्त विद्यालयों के लिए वर्ष 2024 की अवकाश तालिका शनिवार को जारी कर दी है। इसमें छह पर्व रविवार के दिन पड़ने से शिक्षकों को छुट्टियों का नुकसान उठाना पड़ेगा। इस तरह रविवार के पर्वों को हटाने पर साल में 33 के बजाय 27 अवकाश का लाभ मिलेगा। इसके साथ ही ग्रीष्मकालीन 27 दिन और शीतकालीन अवकाश 15 दिन रहेगा। शीतकालीन अवकाश 31 दिसम्बर से 14 जनवरी तक होगा। वहीं ग्रीष्मावकाश 20 मई से 15 जून तक रहेगा।
इसके अलावा हरितालिका तीज अथवा हरियाली तीज, करवा चौथ, संकठा चतुर्थी एवं हलष्ठी/ललई छठ, जीउतिया व्रत/अहोई अष्टमी का अवकाश शिक्षिकाओं को तथा पितृ विसर्जन का अवकाश सिर्फ शिक्षकों को दिया जाएगा। बेसिक शिक्षा परिषद के सचिव प्रताप सिंह बघेल की ओर से जारी की गई अवकाश तालिका के मुताबिक ग्रीष्मावकाश 27 दिन का होगा जिसमें 3 दिन रविवार है। शीतावकाश 15 दिन का होगा जिसमें तीन रविवार हैं। राष्ट्रीय पर्वों पर विद्यालय में कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इसके अतिरिक्त शैक्षणिक समय एक अप्रैल से 30 सितंबर तक सुबह आठ बजे से दोपहर दो बजे तक एवं एक अक्टूबर से 31 मार्च तक सुबह नौ बजे से दोपहर तीन बजे तक रहेगा। ग्रीष्मकाल में मध्यावकाश सुबह 10.30 से 11 बजे तक तथा शीतकाल में दोपहर 12 से 12.30 बजे तक होगा।
विश्लेषणात्मक अध्ययन –
अवकाश तालिका में निहित 33 अवकाशों में से 6 दिन रविवार है। अतः अवकाश की संख्या वस्तुतः मात्र 27 है। 27 में से 4 अवकाश में विद्यालय खुला रहेगा अतः अवकाश की संख्या मात्र 23 बची। 23 में से एक अवकाश बुद्ध पूर्णिमा ग्रीष्मावकाश में मिल रहा है। अतः पूरे वर्ष में मात्र 22 दिन अवकाश रहेगा।ग्रीष्मावकाश 27 दिन का होगा जिसमें 3 दिन रविवार है। अतः जो ग्रीष्मावकाश प्राप्त हुआ वह 24 दिन का होगा। शीतावकाश 15 दिन का होगा जिसमें 3 दिन रविवार है। अतः जो शीतावकाश प्राप्त हुआ वह 12 दिन का होगा। अतः ग्रीष्मावकाश, शीतावकाश और अन्य अवकाश कुल मिलाकर 58 दिन का अवकाश होगा और 52 रविवार को मिला दिया जाए तो 110 दिन विद्यालय बन्द रहेगा। (शिक्षकों को पितृ विसर्जन का अतिरिक्त अवकाश मिल सकता है)
अर्थात 255 दिवस विद्यालय खुला रहेगा। आरटीई एक्ट में प्राथमिक में 200 दिवस और उच्च प्राथमिक में 220 दिवस विद्यालय खुलने की बात कही गई है। अर्थात प्राथमिक विद्यालय मिनिमम दिवस से 55 दिवस अधिक खुलेंगे जबकि उच्च प्राथमिक विद्यालय 35 दिवस अधिक खुलेंगे।
Print Friendly, PDF & Email
AMAN YATRA
Author: AMAN YATRA

SABSE PAHLE

Related Articles

AD
Back to top button