साहित्य जगत

मां लौटकर आयेगी पर आस नहीं है आने की :अमन मिश्रा

                 मां की यादें मां लौटकर आयेगी पर आस नहीं है आने की! अब तो आदत हो गई है रोकर…

4 years ago

खुशियों की सौगात !!सत्यवान सौरभ

खुशियों की सौगात !! ●●●●●●●●●●●●●●●●●●●● पाई-पाई जोड़ता, पिता यहाँ दिन रात ! देता हैं औलाद को, खुशियों की सौगात !!…

4 years ago

क्यों भय के दुष्चक्र में है भारत की निर्भयाएं : प्रियंका सौरभ

भारत में महिलाओं के खिलाफ हिंसा से संबंधित मामलों के के निपटान, महिला सुरक्षा उपायों और हैंडलिंग के लिए दुनिया…

4 years ago

वो चिड़िया, जो आज भी याद आती है : रामसेवक वर्मा

वो चिड़िया, जो आज भी याद आती है। सोते - जागते हर पल मुझे सताती है। लंबी - सी चोंच,…

4 years ago

बच्चों के स्कूल नहीं लौटने का खतरा एक गंभीर चेतावनी : प्रियंका सौरभ

(स्कूल बंद होने के बाद अपनी शिक्षा के लिए वापस नहीं आने वाले बच्चों की संख्या अधिक होने की संभावना…

4 years ago

तितली है खामोश ! – डॉo सत्यवान सौरभ

  बदल रहे हर रोज ही, हैं मौसम के रूप ! ठेठ सर्द में हो रही, गर्मी जैसी धूप !!…

4 years ago

कैसे रुक पाएंगे बाल तस्करी और बाल विवाह : डॉo सत्यवान सौरभ

(बच्चे हमारी वोट बैंक राजनीतिक भागीदारी के लक्ष्य नहीं है। इसलिए, सरकार में बच्चों की न्यूज़ फ्रंट पेज नहीं है।…

4 years ago

कृषक समाज और उनका मित्र केंचुआ : रामसेवक वर्मा

  भारत एक कृषि प्रधान देश है। यहॉ सत्तर फीसदी लोग किसी न किसी रूप में कृषि से जुडे. हुए…

4 years ago

काली जुल्फें घटा सी छाई हैं।कोई खुशबू सलाम लाई है।।

             काली जुल्फें घटा सी छाई हैं। कोई खुषबू सलाम लाई है।। तुमने पलकों को जब भी बन्द किया, सारी…

4 years ago

अच्छे हैं इस देश के बच्चे।सुन्दर प्यारे छोटे सच्चे।।

                                अच्छे हैं इस देश के बच्चे।                                 सुन्दर प्यारे छोटे सच्चे।।                                                 रोज सुबह विद्यालय जाते,…

4 years ago

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